ترجمة سورة المجادلة الآية 5

ترجمة سهيل فاروق خان (Suhel Farooq Khan)

إِنَّ الَّذِينَ يُحَادُّونَ اللَّهَ وَرَسُولَهُ كُبِتُوا كَمَا كُبِتَ الَّذِينَ مِنْ قَبْلِهِمْ ۚ وَقَدْ أَنْزَلْنَا آيَاتٍ بَيِّنَاتٍ ۚ وَلِلْكَافِرِينَ عَذَابٌ مُهِينٌ 5

बेशक जो लोग ख़ुदा की और उसके रसूल की मुख़ालेफ़त करते हैं वह (उसी तरह) ज़लील किए जाएँगे जिस तरह उनके पहले लोग किए जा चुके हैं और हम तो अपनी साफ़ और सरीही आयतें नाज़िल कर चुके और काफिरों के लिए ज़लील करने वाला अज़ाब है